ଅର୍ଥ : सिखों के पहले गुरु नानक देव जी की वाणी जो भगवत् स्तुति गान के रूप में संकलित है और जिसमें अड़तीस स्तोत्र हैं।
ଉଦାହରଣ :
श्री गुरु ग्रंथ साहिब की शुरुआत जपजी साहिब से ही होती है।
ସମକକ୍ଷ : जपजी, जपजी साहिब
ଅନ୍ୟ ଭାଷାରେ ଅନୁବାଦ :
शिखांचे पहिले गुरू नानक देव यांची वाणी जी भगवत् स्तुती गानच्या रूपात संकलित असून त्यात अडतीस स्तोत्र आहे.
श्री गुरू ग्रंथ साहिबची सुरवात जपजी साहिबनेच होते.