ଅର୍ଥ : शंख की तरह का एक कीड़ा जो नदी, जलाशयों आदि में पाया जाता है।
ଉଦାହରଣ :
कुछ लोग घोंघे को खाद्य पदार्थ के रूप में प्रयोग करते हैं।
ସମକକ୍ଷ : घोंघा, पूतिकामुख, शंखनख, शंङ्खनख, शंबु, शंबुक, शंबुका, शंबूक, शंबूका, शम्बु, शम्बुका, शम्बूक, शम्बूका, संबुक, सम्बुक
ଅନ୍ୟ ଭାଷାରେ ଅନୁବାଦ :
ಶಂಖದ ರೀತಿಯ ಒಂದು ಕೀಟ ಅದು ನದಿ, ಜಲಾಶಯ ಮೊದಲಾದವುಗಳಲ್ಲಿ ಸಿಗುತ್ತದೆ
ಕೆಲವು ಜನರು ಬಸವನ ಹುಳುವಿನ ಚಿಪ್ಪನ್ನು ಖಾದ್ಯದ ರೂಪದಲ್ಲಿ ಉಪಯೋಗಿಸುತ್ತಾರೆ.Freshwater or marine or terrestrial gastropod mollusk usually having an external enclosing spiral shell.
snailமிருதுவான உடலைத் தன் உடல் மேல் இருக்கும் சுருள் வடிவ ஓட்டினுள் நுழைத்துக்கொள்ளக் கூடியதும் மிகவும் மெதுவாக ஊர்ந்து செல்லக் கூடியதுமான ஒரு வகை உயிரினம்.
ஒரு சில மக்கள் நத்தையை உணவுப் பொருளாக பயன்படுத்துகின்றனர்നദികളിലും, ജലാശയങ്ങളിലും മറ്റും കാണുന്ന ശംഖ് പോലുള്ള ഒരു പ്രാണി.
ചില മനുഷ്യർ കക്ക വളമായും ഉപയോഗിക്കുന്നു.ଅର୍ଥ : एक प्रकार का बड़ा घोंघा जिसका कोष पवित्र माना जाता है और देवताओं के आगे बजाया जाता है।
ଉଦାହରଣ :
शंख एक जलीय जन्तु है।
ସମକକ୍ଷ : अंबुज, अंभोज, अम्बुज, अम्भोज, अर्णभव, कंबु, कंबुक, कम्बु, कम्बुक, चंद्रबंधु, चन्द्रबन्धु, दैवारिप, पूत, शंख, शंबुक, शंबूक, शङ्ख, शम्बूक, संबुक, सम्बुक, सिंधुज, सिंधुपुष्प, सिन्धुज, सिन्धुपुष्प, सूचिकामुख
ଅନ୍ୟ ଭାଷାରେ ଅନୁବାଦ :
समुद्रात राहणारा एका प्राणी ज्याच्या अस्थिरूप शरीराचा देवपूजेत किंवा युद्धात वाजविण्यासाठी उपयोग होतो.
शंख एक जलचर आहेAny of various edible tropical marine gastropods of the genus Strombus having a brightly-colored spiral shell with large outer lip.
conchகடலில் வாழும் உயிரினத்தின், குவிந்த முனையையும் உட்புறமாக வளைந்து மடிந்த இடைப்பகுதியையும் உடைய ஓடு
திருமாலின் கையில் சங்கு இருக்கும்ଅର୍ଥ : एक प्रकार के बड़े घोंघे का कोष जो बहुत पवित्र माना जाता है और देवताओं के आगे या धार्मिक अनुष्ठानों आदि में बजाया जाता है।
ଉଦାହରଣ :
पंडितजी सत्यनारायण कथा के दौरान शंख बजा रहे थे।
ସମକକ୍ଷ : अंबुज, अंभोज, अब्ज, अब्धिज, अम्बुज, अम्भोज, अर्णभव, कंबु, कंबुक, कम्बु, कम्बुक, चंद्रबंधु, चन्द्रबन्धु, दीर्घनाद, दैवारिप, बहुनाद, शंख, शंबुक, शंबूक, शङ्ख, शम्बूक, संबुक, सिंधुज, सिंधुपुष्प, सिन्धुज, सिन्धुपुष्प, सूचिकामुख
ଅନ୍ୟ ଭାଷାରେ ଅନୁବାଦ :
ಒಂದು ಪ್ರಕಾರದ ದೊಡ್ಡದಾದ ಬಸವನಹುಳುವಿನ ಕೋಶ ಅದನ್ನು ತುಂಬಾ ಪವಿತ್ರ ಎಂದು ನಂಬಲಾಗುತ್ತದೆ ಮತ್ತು ದೇವರುಗಳ ಮುಂದೆ ಅಥವಾ ಧಾರ್ಮಿಕವಾದ ಅನುಷ್ಠಾನಗಳಲ್ಲಿ ಊದಲಾಗುತ್ತದೆ
ಪಂಡಿತರು ಸತ್ಯನಾರಾಯಣ ಕಥೆಯನ್ನು ಓದಿದ ನಂತರ ಶಂಖವನ್ನು ಊದಿದರು.ଖୁବ ପବିତ୍ର ବିଚାର କରାଯାଉଥିବା ଏବଂ ଧାର୍ମିକ କାର୍ଯ୍ୟ ବା ଦେବତାମାନଙ୍କ ଆଗରେ ବଜାଯାଉଥିବା ଏକପ୍ରକାର ବଡ଼ ଗେଣ୍ଡାର ଅସ୍ଥି
ପଣ୍ଡିତ ସତ୍ୟନାରାୟଣ କଥା ଚାଲିଥିଲାବେଳେ ଶଙ୍ଖ ବଜାଉଥିଲେसमुद्रातील एका प्राण्याचे कवच, याचा उपयोग पूजेत किंवा युद्धात वाजविण्याकरता होतो.
युद्ध सुरू होण्याची खूण म्हणून भीष्माने शंख फुंकला.